प्रदेश में संवैधानिक संकट, अपने पद से तुरंत इस्तीफा दे मुख्यमंत्री: जयराम ठाकुर

0

मुख्यमंत्री का अधिकारियों, विधायकों, मंत्रियों और उपमुख्यमंत्री पर कोई नियंत्रण नहीं।

नेता प्रतिपक्ष सुबह पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा है कि प्रदेश में संवैधानिक संकट पैदा हो गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में मुख्यमंत्री का अधिकारियों, विधायकों, मंत्रियों और मुख्यमंत्री पर कोई नियंत्रण नहीं रह गया है। ऐसे में अब मुख्यमंत्री का सत्ता में बने रहने का कोई औचित्य नहीं है और वह तुरंत नैतिकता के आधार पर अपने पद से इस्तीफा दें। जयराम ठाकुर रविवार को शिमला में एक पत्रकार वार्ता को संबोधित कर रहे थे।

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि प्रदेश में कोई भी मुख्यमंत्री की बात नहीं मान रहा है। उन्होंने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि प्रदेश सरकार को शिमला के एसपी चला रहे हैं और पूरी मनमर्जी कर रहे हैं। इसके बावजूद सरकार उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर रही है। नेता प्रतिपक्ष ने मुख्यमंत्री से पूछा कि आखिर वह एक अधिकारी के सामने इतने विवश क्यों हैं और उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं कर रहे हैं।

जयराम ठाकुर ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार पर नियंत्रण खो देने और विमल नेगी मौत मामले की सीबीआई जांच के फैसले के कारण हताशा और निराशा में है और बौखलाहट में उल्टे सीधे फैसले ले रहे हैं। उन्होंने दावा किया कि मुख्यमंत्री विमल नेगी मौत मामले की सीबीआई जांच को रोकना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि यदि मुख्यमंत्री की कुर्सी संभालना सुक्खू के बस की बात नहीं है तो उन्हें तुरंत पद छोड़ देना चाहिए।

नेता प्रतिपक्ष ने आरोप लगाया कि प्रदेश सरकार विमल नेगी मौत मामले में सीबीआई जांच में सहयोग नहीं कर रही है। उन्होंने सरकार से सीबीआई जांच में सहयोग की मांग की और कहा कि सरकार तुरंत सीबीआई को इस मामले से जुड़े दस्तावेज उपलब्ध करवाए। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि शिमला के एसपी संजीव गांधी द्वारा प्रदेश हाई कोर्ट में एलपीए दाखिल करने के पीछे सरकार का हाथ है और यह सब मुख्यमंत्री की सलाह से ही किया गया है। उन्होंने कहा कि हिमाचल में पहली बार ऐसा लग रहा है कि सरकार को एक एसपी चला रहे हैं। उन्होंने कहा कि यदि एक एसपी मुख्यमंत्री की आज्ञा का पालन नहीं कर रहा है तो फिर उसके खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं हो रही है।

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि शिमला के एसपी संजीव गांधी द्वारा विमल ने की मामले में की गई पत्रकार वार्ता मुख्यमंत्री के इशारे पर हुई है क्योंकि मुख्यमंत्री ने ही पहले सार्वजनिक तौर पर घोषणा की थी कि सरकार इस मामले में हाई कोर्ट के सीबीआई जांच के फैसले का विरोध नहीं करेगी। बावजूद इसके शिमला के एसपी ने किस आधार पर हाई कोर्ट में एलपीए दाखिल की। उन्होंने पूछा कि क्या यह सब मुख्यमंत्री के की जानकारी में नहीं था। नेता प्रतिपक्ष ने यह भी पूछा कि क्या एसपी शिमला ने एलपीए दाखिल करने से पहले सरकार से अनुमति ली थी।

पेखूबेला सोलर प्रोजेक्ट भ्रष्टाचार का स्मारक

नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने आरोप लगाया कि प्रदेश में भ्रष्टाचार चरम पर है और लूट की पूरी छूट है। उन्होंने कहा कि पेखुबेला सोलर पावर प्रोजेक्ट भ्रष्टाचार का स्मारक है। उन्होंने सिरमौर जिला के कालाअंब में त्रिलोक संस ब्रुरी पर भी सवाल उठाया और कहा कि यहां 2 साल से अवैध रूप से शराब की फैक्ट्री चल रही है। आबकारी विभाग द्वारा की गई छापामारी में यहां से महंगी शराब के चार लाख स्टीकर मिले हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री से पूछा कि इस मामले में कौन-कौन संलिप्त है सरकार इस बारे में स्थिति स्पष्ट करें। उन्होंने अब आरोप लगाया कि इस मामले में सरकार मिली हुई है और इसी कारण कोई कार्रवाई नहीं कर रही है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here