केरल के 53 छात्र और संकाय सदस्य 25 जुलाई को पांच दिवसीय सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम के लिए शिमला पहुंचे

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53 सदस्यों में से 23 कोचीन के विभिन्न स्कूलों से हैं और 24 बी.टेक के हैं। कोचीन के राजगिरी स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी के छात्र छह संकाय सदस्यों के साथ हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय, शिमला के प्रौद्योगिकी संस्थान (यूआईटी) में आये हैं|  शिमला पहुंचने पर टीम का स्वागत यूआईटी के फैकल्टी सदस्यों ने किया।

      कार्यक्रम का संचालन केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय और अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (एआईसीटीई), नई दिल्ली द्वारा किया जा रहा है। हिमाचल प्रदेश और केरल इस कार्यक्रम के तहत युग्मित राज्य हैं, जिसका उद्देश्य दोनों राज्यों के बीच व्यवस्थित आदान-प्रदान के माध्यम से बातचीत को बढ़ाना और राष्ट्रीय एकीकरण को बढ़ावा देना है।

      उद्घाटन सत्र में कुलपति प्रो. एस.पी. बंसल,  प्रो वाइस चांसलर, प्रो. ज्योति प्रकाश, डीन ऑफ स्टडीज,  प्रो. कुलभूषण चंदेल और डीन फैकल्टी ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी, प्रो नागेश ठाकुर उपस्थित थे|

      अपने संबोधन में कुलपति ने कहा कि यह कार्यक्रम सरकार द्वारा उठाया गया एक बहुत बड़ा कदम है। भारत के विभिन्न राज्यों और संस्कृति के लोगों को देश की विविधता को गले लगाने के लिए एक स्थान पर लाने के लिए यह एक बहुत अच्छा कदम है। प्रो. बंसल ने आगे यूआईटी, हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय के सभी कार्यक्रम समन्वयक को केरल की छात्र टीम के आरामदायक प्रवास के लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाओं का ध्यान रखने का निर्देश दिया।

      प्रो. नागेश ठाकुर ने छात्रों का गर्मजोशी से स्वागत किया। अंत में निदेशक यूआईटी प्रो. पी एल शर्मा ने छात्रों से इस कार्यक्रम का पूरा लाभ लेने और हिमाचल प्रदेश की संस्कृति और परंपराओं के बारे में जानने का आग्रह किया।

      हिमाचल प्रदेश के इतिहास,  भूगोल और संस्कृति के बारे में जानने के लिए छात्रों के समूह के लिए “देव भूमि को जानना” पर एक विशेष इंटरैक्टिव सत्र की भी व्यवस्था की गई है।

      पहले दिन की गतिविधियों में हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय परिसर की खोज और संगती में सनत कला फाउंडेशन का दौरा शामिल था। दिन का समापन यूआईटी के छात्रों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम के साथ हुआ।

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