सरकार ने बागवानों पर राहत बरसाई है।

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आंदोलन का असरबागवानों पर बरसी सरकार की राहत, बागवानी, एचपीएमसी देगा छह फीसद सबसिडी

खुले बाजार से कार्टन खरीदने पर भी मिलेगी जीएसटी में छह फीसद की छूट18 नहीं अब जीएसटी देना होगा 12 फीसद

2019 में बंद की गई सबसिडी योजना बहाल 6 करोड़ खर्च करता था विभाग, अब बागवानी विभाग मुहैया करवाएगा कीटनाशक दवाएं

योजना बंद होने कंपनियों की चलती थी मनमानी

बागवानों के आंदाेलन का असर सरकार पर असर होने लगा है। अब बागवान खुले बाजार से भी सेब कार्टन और ट्रे खरीद कर छह फीसद जीएसटी की छूट पा सकेंगे। अभी तक यह सुविधा हिमफैड, एचपीएमसी से की जाने वाली खरीद पर मानी जा रही थी। इसके लिए बागवानों छह फीसद की सबसिडी मिलेगी। यह बागवानी विभाग और एचपीएमसी के माध्यम से मिलेगी। यही नहीं कीटनाशक दवाओं, फफूंदनाशक दवाओं पर बंद की गई सबसिडी को भी बहाल कर दिया है। यह योजना वर्ष 2019 में बंद कर दी थी। तब सरकार इन पर सालाना छह करोड़ खर्च करती थी। दोनों ही तरह की दवाएं अब बागवानी विभाग उपलब्ध करवाएगा। इसके लिए बागवानी केंद्रों में यह सुविधा मिलेगी। अभी इन दवाओं की खरीद खुले बाजार से करनी पड़ रही है। आरोप है कि वहां कंपनियों की मनमानी चलती थी। बॉक्स- कैसे करें आवेदन

सरकार ने तय किया है कि प्रदेश में सभी बागवानों को, जिन्होंने 1 अप्रैल के बाद सेब की पेटियां एवं ट्रे खरीदी है, उन्हें वस्तु एवं सेवा कर पर 6 फीसद सबसिडी मिलेगी। प्रदेश के बागवान बागवानी विभाग के कार्यालय में जाकर एक फॉर्म पर अपना आवदेन देंगे। इसके साथ जीएसटी बिल की कॉपी, सेल प्रूफ परिवहन, वस्तु रसीद, बाजार शुल्क की प्रति उपलब्ध करवाएं ताकि उनके आधार युक्त बैंक खातों में सबसिडी आ सकेगी। एचपीएमसी द्वारा बेचे गए काटन व ट्रे पर भी यह सबसिडी मिलेगी। सबसिडी का सारा खर्चा सरकार वहन करेगी।बॉक्स- एचपीएमसी को 8 करोड़ 65 लाख जारी

एचपीएमसी को यह भी निर्देश जारी किए गए हैं कि इस बार के सेब सीजन को ध्यान में रखते हुए वह कम से कम 1 करोड़ पेटियों के पैकेजिंग सामग्री की तैयारी कर लें। एचपीएमसी को 8 करोड 65 लाख की धनराशि जारी कर दी है। इससे मंडी मध्यस्थता योजना के तहत 2021 तक खरीदे गए सेब की बागवानों को अदायगी हो सकेगी। बागवानी से संबंधित उपकरण, एंटी हेलमेट व अन्य संबंधित उपकरणों की अदायगी के लिए अतिरिक्त बजट जारी होगा।बॉक्स- 12 करोड़ 36 लाख जारी

सरकार के निर्देशानुसार एग्रीकल्चर मार्केटिंग बोर्ड ने छैला कैंची से सैंज तक सड़क के सुधार के लिए, ताकि बागवानों को यातायात की समस्या से तुरंत राहत मिल सकें। लोक निर्माण विभाग को सरकार की तरफ से यह निर्देश जारी किए गए हैं इस कार्य को प्राथमिकता के आधार पर प्रारंभ किया जाए। इसके अलावा बागवानी बोर्ड के गठन पर भी सरकार गंभीरता से विचार कर रही है। बॉक्स- आंदोलन नहीं होगा वापस

संयुक्त किसान मंच के संयोजक हरीश चौहान, सह संयोजक संजय चौहान ने सरकार के द्वारा लिए गए फैसलों की सराहना की है। लेकिन अभी आंदोलन समाप्त नहीं होगा। उन्होंने कहा कि आंदोलन के कारण पौने चार लाख परिवारों को राहत मिली है। अगर बीस सूत्रीय मांगे मान ली जाती है तो पांच अगस्त को सचिवालय घेराव जश्न में

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